पिथौरागढ़ जिले का जोहार परगना तथा गढ़वाल मण्डल का चमोली जनपद का तल्ला-मल्ला हिमखण्ड पट्टियाँ, नैनीताल, अल्मोड़ा एवं उत्तरकाशी जनपद का उत्तरी सीमान्त क्षेत्र का भटवाड़ी का कुछ भूभाग आता है। उत्तराखंड ...
ये लोग बागेश्वर कपकोट, तेजम, पुंगराऊं, बरम तथा मुनस्यारी में रहते हैं। टेहरी के खास पट्टी में भी इनके कुछ परिवार रहते हैं। यह शोध का विषय है कि उत्तराखण्ड के मिरासी लोग भी घुमक्कड़ बंजारा समुदाय ...
बुक्सा (भोक्सा) उत्तराखण्ड़ की 5 अनुसूचित जनजातियों में से एक है। यह चार उत्तरी जिलों (तराई क्षेत्रों) देहरादून, नैनीताल, पौढ़ी गढ़वाल तथा बिजनौर की लघु बस्तियों के रूप में पाये जाते हैं। उत्तराखंड ...
उत्तराखंड मेरी जन्मभूमि
21 मार्च 2022 को श्री पुष्कर सिंह धामी जी को सर्वसम्...
शहीद श्री देव सुमन का टिहरी रियासत के बमुण्ड पट्टी क...
उत्तराखंड के लोकगायक एवं उत्तराखंड के गांधी के नाम स...
शेखर जोशी जी का जन्म अल्मोड़ा के ओलिया गांव, तहसील सो...
उत्तराखंड से आकर बॉलीवुड की सिनेमा नगरी में अपनी अवा...
ब्रिटिश कमिश्नरी में कमिश्नर सबसे शक्तिशाली प्रशासनि...
बछेन्द्री पाल माउंट एवरेस्ट पर चढ़ने वाली प्रथम भारती...
बिच्छू घास दुनिया के अधिकतर देशों में पाये जाने वाली...
पवेंद्र सिंह कार्की का नाम उत्तराखंड के महान लोकगायक...
उत्तराखण्ड के पूर्वी अंचल में, एक बड़े पर्वतीय भूभाग...
अंग्रेजों के द्वारा पहला बंदोबस्त सन् 1815-16 के मध्...
इस वाद्य का प्रयोग वैवाहिक अवसरों पर किया जाता है। च...
अटरिया देवी मंदिर कुमाऊं के ऊधमसिंह नगर जनपद के मख्य...
जांती का मेला भी कहा जाता है, गढ़वाल मंडल के चमोली ज...
राजा सुदर्शनशाह बहुत ही सुशील स्वभाव के थे और जल्द ह...
कुमाऊँ कुमुद सन् 1922 मे जिला समाचार शीर्षक से प्रका...
गिर्दा ने अपने गीतों, कविताओं से उत्तराखण्ड में समय-...
बलदेव सिंह आर्य सन 1930 में विद्यार्थी जीवन में ही ग...
ये सामान्यत: अनाज को खेतों में बोने (बुवाई) के समय उ...
लोकगाथा के अनुसार इन्द्रपुरी के राजा इन्द्र की दो बे...