नंदा गौरा योजना | |
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लाभार्थी | लड़कियाँ |
कुल लाभ | 51000 (7 चरणों में) |
पात्र | उत्तराखंड निवासी बी. पी. एल., अनुसूचित जाति / जनजाति |
वित्तपोषण | उत्तराखंड सरकार |
संचालित | महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास विभाग |
नंदा गौरा योजना का मुख्य उदेश्य लिंग अनुपात की असमानता में कमी लाने, महिला साक्षरता में वृद्धि, बाल विवाह को समाप्त करने तथा महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के उद्देश्य से महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास द्वारा संचालित किया जाता है।
नंदा गौरा कन्या योजना के तहत बी. पी. एल., अनुसूचित जाति / जनजाति की बच्चियों को आर्थिक सहायता प्रदान की जाती है। इस योजना में कन्या के जन्म से लेकर उसकी पढ़ाई व विवाह तक आर्थिक रूप से मदद की जाती है। इस योजना का लाभ उत्तराखंड राज्य में निवास करने वाले पात्र परिवार की 2 जीवित बालिका को दिया जायेगा।
नन्दा गौरा योजना, कुछ समय पहले महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास तथा समाज कल्याण विभाग द्वारा संचालित विभिन्न योजनाओं को विलय कर नंदा गौरा योजना का नाम दिया गया है। नन्दा गौरा कन्या धन योजना के तहत अब विभिन्न चरणों मे 51,000 रुपये की धनराशि प्रदान की जाती है। 1 जुलाई 2017 के बाद सामाजिक, आर्थिक, जाति आधारित जनगणना 2011 को मान्य मानकर लाभार्थियों को आर्थिक सहायता प्रदान की जायेगा। Nanda Gaura Yojna
आर्थिक सहायता के चरण
चरण | धनराशि | |
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1. | जन्म के समय | 5000 |
2. | 01 वर्ष की आयु पूरी होने पर | 5000 |
3. | कक्षा 8 उत्तीर्ण करने पर | 5000 |
4. | कक्षा 10 उत्तीर्ण करने पर | 5000 |
5. | कक्षा 12 उत्तीर्ण करने पर | 5000 |
6. | डिप्लोमा / स्नातक उत्तीर्ण कनरे पर | 10000 |
7. | विवाह के समय | 16000 |
योग | 51000 |
मानक
निवासी - आवेदक उत्तराखंड का मूल निवासी होना चाहिए।
आय - इस योजना में राज्य सरकार ने कुछ बदलाव किए है। अब गांव और शहर क्षेत्र दोनो के लिए एक ही सालाना आय का मानक तय किया गया है। इस योजना का लाभ वे सभी परिवार ले पाएंगे जिनकी सालाना आय 72 हज़ार रुपये तक है, इससे पहले ग्रामीण क्षेत्रों में 36000 आय और शहरी क्षेत्रों में 42000 आय का मानक तय किया गया था।
खाता - बेटी के जन्म लेने के बाद लाभार्थी को उत्तराखंड राज्य के अंतर्गत स्थापित, सभी सरकारी, अर्द्धसरकारी, निजी बैंक में बेटी और माँ का सयुक्त खाता खोलना होता है। माँ के जीवित न रहने की स्थिति में बेटी के पिता के साथ सयुक्त खोला जायेगा और माता-पिता दोनों के जीवित न रहने की स्थिति में बेटी के संरक्षक के साथ संयुक्त खाता खोला जायेगा। ये खाता लाभार्थी के आधार नंबर से लिंक होना चाहिए।
बच्ची का जन्म - इस योजना का लाभ लेने के लिए कन्या का जन्म सरकारी हॉस्पिटल, मातृ-शिशु केंद्र, ए.एन.एम, प्रशिक्षण स्वास्थ कर्मी द्वारा होने का प्रमाण पत्र आवश्यक होना चाहिए।
आगनवाड़ी में पंजीकरण - बच्चे के जन्म से पूर्व माँ का पंजीकरण गर्भावस्था के दौरान आगनवाड़ी कराया जाना अवश्यक है व माँ द्वारा विभागीय योजनाओं का लाभ जैसे - पूरक पोषाहार, टीकाकरण, स्वास्थ्य जांच जिसका प्रमाण पात्र सम्बंधित क्षेत्र की कार्यकत्री द्वारा दिया जायेगा।
आवेदन पत्र - पूर्ण रूप से भरा आवेदन पत्र प्रमाण पत्रों के साथ कन्या के जन्म के तीन माह के अन्दर प्रस्तुत करना अनिवार्य है। नंदा गौरा योजना के आवेदन पत्र सभी आगनवाड़ी केंद्र/मिनी केन्द्रों तथा बाल विकास परियोजना कार्यालयों में निशुल्क मिलते है।
आवेदन के लिए अवश्यक प्रमाण पत्र
1. स्थाई निवास प्रमाण पत्र
2. परिवार रजिस्टर की प्रमाणित प्रति
3. संस्थागत प्रसव का प्रमाण पत्र
4. जन्म प्रमाण पत्र
5. आय प्रमाण पत्र
6. माता/पिता/संरक्षक के आधार कार्ड
7. आंगनबाड़ी कार्यकर्ती का प्रमाण पत्र
8. टीकाकरण कार्ड
9. माता/पिता/संरक्षक का संयुक्त बैंक खाते की पासबुक की प्रति
10. आवेदक की फोटो
11. द्वितीय किस्त के समय कन्या शिशु का आधार कार्ड
अवश्यक बिंदु
1. नंदा गौरा योजना की पहली किस्त 5000 धनराशि बालिका के जन्म लेने के बाद, समस्त प्रमाण पत्र के साथ आवेदन करने के बाद संयुक्त खाते में ई-पेमेन्ट के माध्यम द्वारा भेजी जियेगी।
2. दूसरी किस्त 5000 धनराशि बालिका की आयु 1 वर्ष पूर्ण होने पर संयुक्त खाते में ई-पेमेन्ट के माध्यम द्वारा भेजी जियेगी। इसके लिए 1 वर्ष के अंतर्गत निर्धारित टीकाकरण पुरे किये गए है, यह प्रमाण संलग्न करना होगा।
3. तीसरी किस्त 5000 की धनराशि बालिका को आठवी कक्षा उत्तीर्ण करने तथा नवीं कक्षा में प्रवेश लिए जाने पर दिया जायेगा।
4. चौथी किस्त 5000 बालिका की धनराशि को 10वीं कक्षा उत्तीर्ण करने तथा 11वीं कक्षा में प्रवेश लिए जाने पर दिया जायेगा।
5. पांचवी किस्त 5000 बालिका की धनराशि को 12वीं कक्षा उत्तीर्ण करने तथा डिप्लोमा/स्नातक में प्रवेश किये जाने पे दिया जायेगा। यह धनराशि का लाभ बालिका के अविवाहित होने पर ही दिया जायेगा।
6. छठी किस्त 10000 की धनराशि बालिका को डिप्लोमा/स्नातक में प्रवेश किये जाने पर दिया जायेगा। यह धनराशि का लाभ बालिका के अविवाहित होने पर ही दिया जायेगा।
7. सातवी किस्त 16000 की धनराशि बालिका के विवाह के अवसर पर दी जायेगी।
उपरोक्त सभी किस्ते लाभार्थी के खाते में ई पेमेन्ट के माध्यम से भेजी जायेगी। Nanda Gaura Yojna